शहर के डेंगू संक्रमित स्थानों को तलाशेगा स्वास्थ्य अमला, राष्ट्रीय बाल स्वास्थ्य कार्यक्रम में लापरवाही बरतने पर कलेक्टर ने दिए कार्रवाई के निर्देश

00 अस्पतालों को साफ-सफाई व प्रसव में गुणवत्तापूर्ण रखा जाए
00 जिले में बनाए जाएंगे 4.50 लाख आयुष्मान कार्ड, डोर-टू-डोर होगा सर्वे
रायपुर। जिले में डेंगू के संक्रमण को रोकने स्वास्थ्य अमला मैदान में उतरेगा और डेंगू संक्रमित स्थानों की तलाश की जाएगी। साथ ही डेंगू से बचाव के लिए नागरिकों को जागरूक किया जाएगा। कलेक्टर डॉ. गौरव सिंह ने कलेक्ट्रेट के रेडक्रॉस सभाकक्ष में जिला स्वास्थ्य समिति की समीक्षा के दौरान राष्ट्रीय बाल स्वास्थ्य कार्यक्रम में लापरवाही बरतने पर कार्रवाई के निर्देश दिए है। साथ ही शासकीय अस्पतालों को साफ-सफाई रखने को कहा है, ताकि मरीजों को किसी भी प्रकार की दिक्कतों का सामना न करना पड़े। कलेक्टर डॉ. सिंह ने जिले में नए आयुष्मान कार्ड बनाने के लिए डोर-टू-डोर सर्वे करने के निर्देश दिए है। जिले में 4 लाख 50 हजार राशनकार्ड धारियों के आयुष्मान कार्ड बनाए जाएंगे।
कलेक्टर ने सी.जी.एम.एस.सी. को सभी निर्माण कार्य गुणवत्ता के साथ समयावधि मेें पूर्ण करने के निर्देश दिए। साथ ही एन.आर.सी. पर रायपुर में 20 बेड बढ़ाने की, महिला एवं बाल विकास विभाग अधिकारी की सुझाव को पूरा करने के लिए कोविड वार्ड जिला चिकित्सालय पण्डरी में प्रस्ताव पारित कराने को कहा। कलेक्टर डॉ. सिंह ने मातृत्व स्वास्थ्य कार्यक्रम के समीक्षा में पाया कि गर्भवती का पंजीयन प्रथम तिमाही में अर्बन रायपुर एवं तिल्दा का कम है, इसे बढ़ाने का निर्देश दिए। संस्थागत प्रसव सुरक्षित प्रसव कराने के लिए एवं हाईरिस्क गर्भवती को समय पर एफ.आर.यू. रिफरल करने को कहा है। कलेक्टर ने कहा कि प्रति गुरूवार को सुपरवाईजर को फिल्ड में जाकर रिपोर्ट कलेक्ट करें। कोई भी संस्था बंद न रहे। साथ ही मातृत्व मृत्यु की जानकारी लेने पर एम.सी.एच. नोडल द्वारा मातृत्व मृत्यु की कारणों की जानकारी बताई गई, जिसमें 3 केस की मृत्यु पी.पी.एच., हार्ट प्राब्लम, टी.बी. से मातृ मृत्यु होने की जानकारी दी गई। परिवार नियोजन में पखवाड़ा के अंतर्गत जिले में पुरूष नसबंदी अधिक से अधिक करने के निर्देश दिए है। साथ ही टीकाकरण रिपोर्ट में सुधार करने एवं कार्यक्रम अधिकारी एवं सलाहकार को अच्छे से मानिटरिंग करने के निर्देश दिए। आर.बी.एस.के. टीम के कार्यों व प्रगति से कलेक्टर ने नाराजगी जताई। उनकी विजिट आंगनबाड़ी एवं स्कूल में कम है एवं उनकी रिपोर्ट में विभिन्नता दिखी, जिस पर कलेक्टर ने नोडल अधिकारी एवं सलाहकार को फिल्ड स्तर में सुधार करने को कहा। आर.बी.एस.के. टीम की स्क्रीनिंग कम है टीम पर कार्यवाही करने का निर्देश दिए। कुष्ठ से रोकथाम के लिए जागरूक करने के निर्देश दिए है और छोटे बच्चों में मिल रहे लेप्रोसी केस के लिए चिंता व्यक्त की और घर-घर सर्वेक्षण पूर्ण कर लेप्रोसी का पूर्णत: उपचार पूर्ण करने के निर्देश दिए। कलेक्टर ने समीक्षा के दौरान आर.सी.एस. सर्जरी कम होने न्यू केस ज्यादा मिलने पर सर्वे के निर्देश दिए है। साथ सिकल सेल की स्क्रीनिंग आरंग ब्लाक में कम होने पर बढ़ाने के निर्देश दिए।

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